पुणे, 14 अप्रैल (आज का आनंद न्यूज नेटवर्क) केंद्र सरकार की घोषणा के अनुसार, पुणे शहर को रेबीज मुक्त बनाने के लिए मनपा द्वारा आवारा कुत्तों का टीकाकरण किया जाएगा. फिलहाल शहर में डेढ़ लाख से अधिक आवारा कुत्ते हैं और उन्हें हर साल टीका देने के लिए योजना बनाई जा रही है, यह जानकारी मनपा की पशु चिकित्सा अधिकारी डॉ. सारिका फुंडे ने दी. केंद्र सरकार के स्वास्थ्य विभाग द्वारा ‘नेशनल रेबीज कंट्रोल प्रोग्राम' की घोषणा की गई है. इस कार्यक्रम के अंतर्गत 2030 तक देश के सभी शहरों को रेबीज मुक्त बनाने का लक्ष्य रखा गया है, जो कि विशेष रूप से कुत्तों के काटने से होने वाली जानलेवा रेबीज बीमारी को समाप्त करने के उद्देश्य से है. इसके लिए केंद्र और राज्य सरकार के विभिन्न विभागों के साथ-साथ स्थानीय स्वशासी संस्थाओं की भी सहायता ली जाएगी. इस विषय में जानकारी देते हुए डॉ. सारिका फुंडे ने कहा कि रेबीज का सबसे अधिक खतरा कुत्तों, विशेषकर आवारा कुत्तों से होता है. मनपा द्वारा आवारा कुत्तों की नसबंदी के साथ-साथ टीकाकरण के लिए लगातार विशेष प्रयास किए जाते ह्ैं. कुत्ता काटने की स्थिति में मनपा और सरकारी अस्पतालों में रोगियों का निशुल्क इलाज किया जाता है. काटने वाले कुत्ते की पहचान कर उसका टीकाकरण किया जाता है या उस पर विशेष निगरानी रखी जाती है. इसी वजह से पुणे में रेबीज से मृत्यु की घटनाएं बहुत कम देखी जाती हैं. डॉ. फुंडे ने आगे कहा कि केंद्र सरकार द्वारा घोषित इस राष्ट्रीय कार्यक्रम से कुत्तों की संख्या नियंत्रित करने और टीकाकरण अभियान को बल मिलेगा. पुणे शहर को 2030 तक रेबीज मुक्त बनाने की योजना अंतिम चरण में है और इस अभियान की जल्द शुरुआत की जाएगी. इस हेतु सरकार के विभिन्न विभागों के साथ-साथ पशु प्रेमियों और स्वयंसेवी संस्थाओं की भी मदद ली जाएगी.