देश में इस साल भी जमकर हाेगी बारिश

    14-Apr-2021
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लगातार तीसरे साल झमाझम बादल बरसने का स्काईमेट ने जताया अनुमान
 
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देश में इस साल भी बारिश जमकर हाेगी. लगातार तीसरे साल झमाझम बादल हाेने का स्काईमेट ने अनुमान जताया है.
मानसून काे अपनी नियत तिथि पर 1 जून काे केरल पहुंच जाएगा. जून से सितंबर के दाैराना 907 मिलीमीटर वर्षा की संभावना है. किसानाें के लिए अच्छी खबर है. इस साल 1 जून से शुरू हाेने वाला मानसून यानी बारिश सामान्य रहने का अनुमान है. माैसम की जानकारी देने वाली संस्था स्काईमेट वेदर सर्विसेस ने बताया कि, भारत में इस साल जून से सितंबर के दाैरान औसत बारिश 907 मिलीमीटर हाे सकती है. पूरे भारत में चार महीनाें के दाैरान औसत 880.6 मिलीमीटर बारिश हाेती है, जिसे लांग पीरियड एवरेज (LPA) कहते हैं. स्काईमेट इसे ही औसत मानकर चलती है. यानी 100% मानती है. सामान्य ताैर पर सभी इसी आंकड़े काे आधार मानते हैं.
 
 
अब इस साल 907 मिलीमीटर बारिश की संभावना है. यानी सामान्य से 3% ज्यादा बारिश हाेगी. इस लिहाज से 2021 म मानसून के दाैरान 103% बारिश हाेने की संभावना है. औसत 880.6 मिलीमीटर काे ही आधार मानते हुए स्काईमेट ने बताया कि 96% से लेकर 104% की बारिश काे सामान्य बारिश कहा जाता ह अब 2021 में लगातार तीसरे साल भी अच्छे मानसून का फायदा मिलेगा. रिपाेर्ट के मुताबिक इस साल जून महीने में 177 मिलीमीटर बारिश हाे सकती है, जबकि जुलाई में 277, अगस्त में 258 और सितंबर महीने में 197 मिलीमीटर बारिश हाेने की उम्मीद है. यानी जुलाई और अगस्त में सबसे ज्यादा बारिश हाेती है.
 
 
बारिश के पूर्वानुमान से हाेता है फायदा: माैसम पूर्वानुमान से प्राकृतिक आपदाओं में जैसे भारी वर्षा, ओलावृष्टि, हीट वेव यानी लू, शीतलहर से फसलाें काे बचाने की तैयारी में मदद मिलती है. इसके अलावा केंद्र व राज्य सरकार काे भी सूखे और बाढ़ जैसे मामले में किसानाें से जुड़ी याेजना काे तैयार करने में मदद मिलता है. अच्छे मानसून का खेती पर अच्छा असर:अच्छे मानसून से खेती पर भी अच्छा असर पड़ता है. पिछले साल समय पर बारिश के चलते रबी फसल की बुआई रिकाॅर्ड स्तर पर पहुंच गई. क्रिसिल के मुताबिक सीजन में 27 नवंबर 2020 तक कुल 348 लाख हेक्टेयर में बुआई हुई, जाे सालभर पहले से 334 लाख हेक्टेयर थी.