भाजपा शहराध्यक्ष शंकर जगताप के समक्ष अनेक चुनौतियां

मनपा, विधानसभा और लोकसभा चुनाव हेतु सभी को साथ लेकर चलने करनी पड़ेगी कवायद

    24-Jul-2023
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पिंपरी, 23 जुलाई (आज का आनंद न्यूज नेटवर्क)
 
आगामी समय में लोकसभा, विधानसभा और स्थानीय निकायों के चुनाव होंगे. इस पृष्ठभूमि में, भारतीय जनता पार्टी ने राज्य भर में शहर अध्यक्षों और जिला अध्यक्षों का चुनाव करके एक नई टीम बनाने की दिशा में कदम उठाया है. इसके अनुसार भाजपा के शहर अध्यक्ष के रूप में दिवंगत विधायक लक्ष्मण जगताप के भाई पूर्व नगरसेवक शंकर जगताप को नियुक्त किया गया है. जगताप का चुनाव इसलिए खास मायने रखता है क्योंकि आने वाले समय में 3 अहम चुनाव होने हैं. जगताप को राज्य में सत्ता के बदले हुए समीकरण, शहर भाजपा के पुराने और नए सदस्यों को कार्यकारिणी में शामिल करना, मनपा में भाजपा और सहयोगी दल को सत्ता में वापस लाने की कोशिश जैसी कई चुनौतियों का सामना करना पड़ेगा.
 
भाजपा के शहर अध्यक्ष विधायक महेश लांडगे का कार्यकाल 6 माह पहले समाप्त हो गया था. क्या लांडगे को उनका कार्यकाल समाप्त होने के बाद एक और विस्तार मिलेगा या किसी नए व्यक्ति को मौका मिलेगा? चिंचवड़ शहर में इस बात की बड़ी चर्चा थी कि पिंपरी विधानसभा में नया शहर अध्यक्ष होगा या नहीं. हालांकि, भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष चन्द्रशेखर बावनकुले ने उम्मीद के मुताबिक 19 जुलाई को पूर्व नगरसेवक शंकर जगताप के नाम की घोषणा की. जगताप के नाम की घोषणा होते ही नाराज बीजेपी के कुछ पदाधिकारियों ने विरोध शुरू कर दिया कि एक ही परिवार से कितने लोगों को पद दिया जाएगा. साथ ही असंतुष्ट पूर्व नगरसेवकों का एक दल प्रदेश अध्यक्ष बावनकुले से भी मिलने जा रहा है. लेकिन, नवनियुक्त शहर अध्यक्ष जगताप ने स्पष्ट किया है कि वह असंतुष्टों की नाराजगी दूर कर एक परिवार की तरह मिलकर काम करेंगे.
 
ऐसे में देखा जा रहा है कि जगताप नाराज लोगों की नाराजगी दूर करने में कामयाब हो रहे हैं. कार्यकारिणी में नये और पुराने का सामंजस्य बैठाना होगा : शहर भाजपा में पुराने और पार्टी में आए नए लोगों के बीच अक्सर विवाद होता रहता है. इसलिए शहर कार्यकारिणी में पदाधिकारियों की नियुक्ति करते समय पुराने और नए के सामंजस्य के साथ ही तीनों विधानसभा क्षेत्रों के कार्यकर्ताओं को उचित अवसर देने में शहर अध्यक्ष शंकर जगताप की परीक्षा होगी. उपचुनाव की जीत का जगताप को मिला इनाम पूर्व विधायक लक्ष्मण जगताप का 3 जनवरी 2023 को निधन हो गया था. इसके बाद एक महीने के अंदर ही उपचुनाव हुए. इस चुनाव में अश्विनी जगताप को बीजेपी ने उम्मीदवार बनाया था. महाविकास आघाड़ी और निर्दलीय उम्मीदवारों के कारण मुकाबला काफी कड़ा था. इस चुनाव में शंकर जगताप की नेतृत्व क्षमता ने बीजेपी की जीत को आसान बना दिया. इसलिए, भाजपा के नेताओं द्वारा जगताप को शहर अध्यक्ष नियुक्त करने और उन्हें आगामी लोकसभा, विधानसभा और मनपा चुनावों के लिए ताकत देने की बात कही गई है.
 
 
जगताप के कार्यकाल में होंगे तीन चुनाव
 
2019 के विधानसभा चुनाव के बाद विधायक लांडगे को शहर अध्यक्ष बनाया गया था. उनके शहराध्यक्ष पद के कार्यकाल के दौरान एक भी चुनाव नहीं हुआ. नवनियुक्त शहर अध्यक्ष जगताप का कार्यकाल 3 वर्ष का होगा. विभिन्न कारणों से मनपा चुनाव में डेढ़ साल की देरी हो चुकी है. जगताप के कार्यकाल में 3 महत्वपूर्ण चुनाव लोकसभा, मनपा और विधानसभा होंगे. इसलिए, यह देखना दिलचस्प होगा कि शहर अध्यक्ष के रूप में जगताप के कार्यकाल के दौरान पार्टी कैसा प्रदर्शन करती है.
 
 
सहयोगी दल से तालमेल बिठाना होगा
 
2017 के मनपा चुनाव में बीजेपी 77 नगरसेवकों की जीत के साथ अकेले दम पर सत्ता में आई थी. लेकिन, जुलाई 2022 में शिंदे-फडणवीस सरकार के साथ 2 जुलाई 2023 को राज्य में एनसीपी का एक बड़ा गुट सत्ता में शामिल हो गया है. इसलिए ऐसी संभावना है कि आगामी मनपा चुनाव तीनों दल बीजेपी, एनसीपी और शिवसेना मिलकर लड़ेंगे. जब तीनों दलों के मनपा उम्मीदवारों की संख्या बड़ी होगी तो शहर अध्यक्ष जगताप को सीटें आवंटित करने में काफी कठिनाइयों का सामना करना पड़ेगा.