राजस्थान के आबू राेड़ में मावल स्थित और पूरे मध्य-उत्तर भारत के श्रद्धास्थान बन चुके भव्य तिरुपति देवस्थान मंदिर के चाैथे वार्षिक महाेत्सव में हजाराें श्रद्धालुओं की बेशुमार भीड़ ने इस मंदिर की महत्ता में चार चांद लगा दिए. मां पद्मावती और श्री विजयावेंकटेश्वर तिरुपति बालाजी धाम का चाैथा दिव्य वर्ष उत्सव भक्ति, दिव्य ऊर्जा और आध्यात्मिक आनंद से ओतप्राेत रहा.भक्ताें ने सुंदर कांड पाठ, अभिषेक पूजा, हवन, शाेभा यात्रा और भव्य कल्याणम पूजा जैसे पवित्र अनुष्ठान देखे, जाे ब्रह्म मुहूर्त में प्राण प्रतिष्ठा की सालगिरह के प्रतीक थे. यह उत्सव भगवान वेंकटेश्वर और देवी पद्मावती के विश्वास, एकता और अनंत आशीर्वाद काेदर्शाता है, जिससे दिव्य कृपा और भक्ति के चार शानदार साल पूरे हुए. दाे दिन के इस कार्यक्रम में पाठ, पूजा, हवन, शाेभा यात्रा और कल्याणम समाराेह जैसे कई पवित्र अनुष्ठान मुख्य ट्रस्टी सीए उत्तम अग्रवाल की अगुवाई में पूरे हुए. यह ब्रह्माेत्सव अत्यंत श्रद्धा, भक्ति और उल्लास के साथ हुआ. सुबह से मंदिर में श्रद्धालुओं की आवाजाही शुरू हाे गई थी. बालाजी महाराज के जयकाराें और भक्ति गीताें से पूरा धाम गूंजता रहा.
उत्तम अग्रवाल ने बताया कि कार्यक्रम में देशभर के काेने काेने से आए गणमान्य हस्तियाें ने शिरकत की. मुख्य कार्यक्रम के रूप में महाप्रसाद का आयाेजन दाेपहर 12 बजे से 3 बजे तक हुआ, जिसमें बड़ीसंख्या में भक्ताें ने भाग लिया. भक्ताें ने भगवान बालाजी के दर्शन कर आशीर्वाद प्राप्त किया और प्रसाद ग्रहण किया. इसमें बालाजी धाम के संस्थापक सीए उत्तम प्रकाश अग्रवाल सहित कई गणमान्य नागरिक, स्थानीय श्रद्धालु और बाहर से आए भक्त शामिल हुए. मंदिर काे आकर्षक रूप से सजाया था, भक्ताें की सुविधा के लिए विभिन्न व्यवस्था समिति के सदस्याें ने सतत सेवा दी. भजनाें, कीर्तन और आरती के दाैरान भक्त भावविभाेर हाे उठे.आयाेजन के समापन पर श्रद्धालुओं ने देश और समाज की सुख-समृद्धि की कामना की. अंत में आयाेजन समिति की ओर से आगंतुकाें और सहयाेगियाें का आभार माना. ब्रह्माेत्सव के दाैरान मावल क्षेत्र भक्ति, श्रद्धा और सेवा के रंगाें में रंगा नजर आया. इससे वातावरण आध्यात्मिक ऊर्जा और आनंद से भर उठा.