कोथरुड, 7 नवंबर (आज का आनंद न्यूज नेटवर्क)
जैसे-जैसे तकनीक पहले से कहीं अधिक तेजी से आगे बढ़ रही है, हमारी असली जिरमेदारी न केवल नवाचार में है, बल्कि यह सुनिश्चित करने में भी है कि यह नैतिकता और करुणा के साथ मानवता की सेवा करे. भारत के गतिशील नेतृत्व में, हम देख रहे हैं कि चंद्रयान से लेकर यूपीआई तक, समावेशी नवाचार कैसे जीवन बदल रहा है. आइए यह शिखर सम्मेलन हमें विज्ञान और प्रौद्योगिकी का उपयोग करके एक अधिक संबद्ध, शांतिपूर्ण और समतापूर्ण वेिश बनाने के लिए प्रेरित करें, ऐसी अपील महाराष्ट्र के विपणन एवं प्रोटोकॉल मंत्री, जयकुमार रावल ने की. वे एमआईटी वर्ल्ड पीस यूनिवर्सिटी (एमआईटी-डब्ल्यूपीयू) द्वारा वेिश प्रौद्योगिकी (डब्ल्यूटी) संगठन के सहयोग से पुणे के वर्ल्ड पीस डोम में वेिश प्रौद्योगिकी शिखर सम्मेलन 2025 भारत (डब्ल्यूटीएस-25) का उद्घाटन करते हुए बोल रहे थे. इस शिखर सम्मेलन में 25 देशों के 200 से अधिक प्रतिनिधि शामिल हुए, जिनमें वैेिशक संस्थानों, स्टार्टअप्स, नीति निर्माताओं और विचारकों के प्रतिनिधि शामिल थे. इसका उद्देश्य वैेिशक चुनौतियों से निपटना और एक अधिक जुड़े हुए, टिकाऊ भविष्य का निर्माण करना है. शिखर सम्मेलन में विज्ञान, नवाचार और प्रौद्योगिकी पर ध्यान केंद्रित किया गया जिसका उद्देश्य वैेिशक चुनौतियों का समाधान करना था. सत्रों में चार परस्पर जुड़े वैज्ञानिक क्षेत्रों: डेटा विज्ञान, पृथ्वी विज्ञान, जीवन विज्ञान और औद्योगिक विज्ञान में कृत्रिम बुद्धिमत्ता, रोबोटिक्स, क्वाटंम कंप्यूटिंग, जैव प्रौद्योगिकी, स्वच्छ ऊर्जा और डिजिटल बुनियादी ढांचे में हुई प्रगति पर चर्चा की गई. साथ ही अमोल कुलकर्णी (कपड़ा परियोजना के संस्थापक, एमआईटी- डब्ल्यूपीयू इनोवेशन क्लब के साथ साझेदारी में) द्वारा एक सस्टेनेबिलिटी लैब सहयोग की घोषणा थी. इस पहल के माध्यम से, एमआईटी-डब्ल्यूपीयू भारत का पहला ऐसा वेिशविद्यालय बन जाएगा जो सर्कुलर इकोनॉमी परियोजनाएं शुरू करेगा, जहां छात्र परिसर में उत्पन्न कचरे को उपयोगी उत्पादों में बदलेंगे. डेबोरा पंडित सवाफ (द पावर ऑफ वर्ड्स फाउंडेशन की संस्थापक और सीईओ और वर्ल्ड टेक्नोलॉजी ग्रुप के समन्वय आयोग की अध्यक्ष), और डॉ. आर. एम. चिटणीस (एमआईटी- डब्ल्यूपीयू के कुलपति) सहित मान्यवरों ने प्रतिनिधियों का स्वागत किया. डॉ. गणेश काकंडीकर, डीन (एमआईटी-डब्ल्यूपीयू में नवाचार, स्टार्टअप और सहयोग) और वर्ल्ड टेक्नोलॉजी समिट 2025 इंडिया के संयोजक ने धन्यवाद ज्ञापन दिया. सर पॉल जे. फोस्टर (संस्थापक और कार्यकारी अध्यक्ष, वर्ल्ड टेक्नोलॉजी ग्रुप) ने कहा कि ज्ञान, नवाचार और आत्मा की भूमि भारत में यहां खड़े होना एक सच्चे सम्मान की बात है. जो एक विचार के रूप में शुरू हुआ था. नवाचार से वैेिशक संपर्क को प्रभावित करने और गति देने की ओर बढ़ना.वह पुणे में जीवंत हो गया है. भावनात्मक बुद्धिमत्ता को वैज्ञानिक उत्कृष्टता के साथ जोड़ना होगा एमआईटी-डब्ल्यूपीयू के कार्यकारी अध्यक्ष डॉ. राहुल वि. कराड ने कहा, जैसे-जैसे भारत नवाचार में एक वैेिशक नेता के रूप में आगे बढ़ रहा है, हमें भावनात्मक बुद्धिमत्ता को वैज्ञानिक उत्कृष्टता के साथ जोड़ना होगा. शिक्षा जगत और उद्योग जगत के बीच सहयोग के माध्यम से, हम एक ऐसे भविष्य का निर्माण कर सकते हैं.
डेटा और एआई शक्तिशाली उपकरण
गंधाली सामंत (ग्राहक सफलता प्रमुख - क्लाउड एवं एआई प्लेटफॉर्म, माइक्रोसॉफ्ट इंडिया एवं दक्षिण एशिया) ने कहा, कृत्रिम बुद्धिमत्ता लोगों की जगह लेने के लिए नहीं है; यह उन्हें सशक्त बनाने के लिए है. अगर हम औद्योगिक और आईटी क्रांतियों पर नजर डालें, तो पाएंगे कि तकनीक ने नौकरियां नहीं छीनीं, बल्कि उन लोगों के लिए नई नौकरियां पैदा कीं जिन्होंने अनुकूलन किया और सीखा. डेटा और एआई शक्तिशाली उपकरण हैं जो हमें बेहतर निर्णय लेने और नवाचार को बढ़ावा देने में मदद कर सकते हैं.