मुंबई, 6 दिसंबर (वि.प्र.) मध्य रेल और पश्चिम रेलवे ने हाल के दिनों में नकली और जाली टिकटों पर यात्रा करने के बढ़ते मामलों से निपटने के लिए एक संयुक्त और सघन अभियान शुरू किया है. उपनगरीय नेटवर्क (स्टेशनों और ट्रेनों) में टिकट चेकिंग गतिविधियों को तेज कर दिया गया है, जिसके लिए विशेष चेकिंग टीमें तैनात की गई हैं. इस सख्ती के तहत, अब यात्रियों को टिकट परीक्षक को एक वैध पहचान पत्र दिखाना अनिवार्य होगा, जो सीजन टिकट पर दर्ज विवरण से मेल खाना चाहिए. रेलवे प्रशासन ने नकली टिकट बनाने या इस्तेमाल करने वालों के खिलाफ कड़ा रुख अपनाया है. यात्रियों को धोखाधड़ी वाले तरीके अपनाने के खिलाफ सख्त चेतावनी दी गई है. नियम तोड़ने वालों के खिलाफ भारतीय न्याय संहिता (बीएनएस), 2023 के विभिन्न सेक्शन (जैसे 318(2), 336(3), आदि) के तहत कड़ी कार्रवाई की जाएगी. इन धाराओं के तहत दोषी पाए जाने पर जुर्माना और 7 साल तक की जेल, या दोनों हो सकते हैं. रेलवे ने यात्रियों से अपील की है कि वे अपनी यात्रा के लिए केवल अधिकृत स्रोतों रेलवे स्टेशन बुकिंग काउंटर, एटीवीएम , या मोबाइल यूटीएस ऐप से ही टिकट खरीदें. इस पहल का उद्देश्य यात्रा में पारदर्शिता और सुरक्षा सुनिश्चित करना है. रेलवे का संदेश स्पष्ट है सम्मान के साथ यात्रा करें-सुरक्षित यात्रा करें.