जस्टिस वर्मा के खिलाफ केंद्र द्वारा महाभियाेग की तैयारी शुरू हाे गई है.सुप्रीम काेर्ट की समिति ने केंद्र से की थी सिफारिश. इसके बाद सरकार ने सभी दलाें से बात की ताे सभी विपक्षी पार्टियाें ने सहमति दी. जस्टिस यशवंत वर्मा के खिलाफ भ्रष्टाचार के गंभीर आराेपाें के चलते केंद्र सरकार ने उन्हें हटाने की प्रक्रिया काे लेकर तेजी दिखाई है.सूत्राें के मुताबिक सरकार ने इस मुद्दे पर लगभग सभी प्रमुख राजनीतिक दलाें से बात की है और आम राय बनाने की काेशिश की है. सूत्राें के अनुसार इस फैसले के पीछे सुप्रीम काेर्ट की एक आंतरिक समिति की रिपाेर्ट है, जिसमें कहा गया कि जस्टिस वर्मा के आचरण काे देखते हुए उनकी बर्खास्तगी की सिफारिश की जानी चाहिएइसी आधार पर सरकार ने विपक्षी दलाें काे भी इस प्रस्ताव पर साथ लाने की रणनीति बनाई है. बता दें कि संसद का मानसून सत्र 21 जुलाई से 21 अगस्त तक चलेगा. दिल्ली हाईकाेर्ट के तत्कालीन न्यायाधीश जस्टिस यशवंत वर्मा के सरकारी आवास में हाेली की रात 14 मार्च काे आग लग गई थी. उस वक्त वे और उनकी पत्नी भाेपाल में थे. घर पर उनकी बेटी और बुजुर्ग मां माैजूद थीं. आग बुझाने पहुंचे अग्निशमन कर्मियाें ने एक स्टाेर रूम में नकदी से भरे बाेराें में आग लगी हुई देखी. इसके बाद घटनास्थल से दाे वीडियाे सामने आने पर मामले ने तूल पकड़ा.